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HEALTH FOR ALL dr.vyas: अलग अलग ऋतुओं के अनुसार आहार,विहार ओर आचरण थोड़ा ब...

 अलग अलग ऋतुओं के अनुसार आहार, विहार ओर आचरण (दिन चर्या)  कुछ अलग हो सकती है । इस बात को समझने के लिए आयुर्वेद के अनुसार जीवन के आधार या स्तम्भ के बारे में जानना होगा।

आयुर्वेद के अनुसार, मनुष्य जीवन तीन खभों (कालम) पर खड़ा हुआ है। जीवन के ये आधार उप-स्तम्भ तीन कहें हें। इनके बिना "स्वस्थ जीवन" जो आयुर्वेद का प्रयोजन है,  सभव नहीं है।

   किसी भी प्राणी का जीवन हवा के विना कुछ मिनिट, पानी के विना कुछ दिन, ओर आहार या भोजन के अभाव में कुछ माह से अधिक नहीं चल सकता। ये जीवन के आधार या स्तम्भ होते हें जिन पर शरीर जीवित रहता है। ऋषियों मुनियों ने प्रमुख पाँच स्तम्भ या पिलर्स पर केवल जीवन ही नहीं समस्त जढ़ जगत [पहाड़, नदी, आदि सभी] को पञ्च- तत्व [पृथ्वी, जल, तेज, वायु, ओर आकाश] सृष्टि को रखा हुआ माना हें।

 आयुर्वेद में ये तीन उपस्तंभ या जीवन के आधार हें-  1- आहार, 2- निद्रा और 3-ब्रह्मचर्य, कहे गए हैं।

  इनका सही या सम्यक प्रयोग से ही शरीर स्वस्थ रहता है। इनमें से एक भी आधार या स्तम्भ या पिलर कमजोर, क्षति ग्रस्त, हो जाए या हमारी लापरवाही का शिकार हो जाए, जेसें घर के खंभों की देखभाल नहीं होने से वह घर खंडहर बन जाता  है, उसी प्रकार जीवन रूपी इस "महल" को खंडहर होते या जीवन नष्ट होते देर नहीं लगती।

सर्वोपरि है आहार ------------- ओर अधिक देखें --- क्लिक लिंक-- HEALTH FOR ALL dr.vyas: अलग अलग ऋतुओं के अनुसार आहार,विहार ओर आचरण थोड़ा ब...: