'मानस माधुरी'' परम पूज्या हेमलता जी (दीदी मॉ) --..औदीच्य समाज की गोरव शाली महिला संत --- सिद्धपुर में सम्मान -----
ज्ञान का दान सर्वोपरि कहा जाता हे, मानस ओर भागवत कथा के माध्यम जन जीवन को जीने की कला सिखाना सुश्री दीदी हेमलता जी का ध्येय बन गया हे , समाज को आप पर गर्व हे।
आपने जब जीवन में प्रथम बार बोलना सीखा तो आपके श्री मुख् से स्वत: श्री रामायण जी की चौपाईयां ही प्रस्फुटित हुई। परिवार में नित्य श्री रामायण जी का पाठ एवं आध्यात्मिक वातावरण का ही प्रभाव रहा था कि आपको अपनी माताश्री के गर्भ में ही अलौकिक ज्ञान की प्राप्ति हुई। धीरे धीरे आपकी कीर्ति चहूं और फैलने लगी, साथ ही आपने स्व प्रेरणा से संगीत के सात सुरों को भी साध लिया हे। आपके इस पावन संकल्प में आपका परिवार भी सहयोगी रहा है।
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